दस जमा एक लाइनी बात
दस जमा एक लाइनी बात
आप लेफ्ट का फर्क समझ आवै इतनै घनी वार होज्यागी
ओहले कहे तैं नहीं काम चलै इतनै घनी मार होज्यागी
ईमानदारी के लबादे मैं लूट की या गाड्डी सवार होज्यागी
सिस्टम बदले बिना क्यूकर भ्रष्टाचार की हार होज्यागी
लेफ्ट बिना मजदूर किसान की कैसे नैय्या पार होज्यागी
कै खिलाफ जिस दिन नब्बै की सेना तयार होज्यागी
उस दिन पूरी दुनिया मैं भारत की हटकै पुकार होज्यागी
नहीं तो लूट कार्पोरेट की इस ढालाँ या स्वीकार होज्यागी
अम्बानी की जागां दूजे लुटेरयाँ की खड़ी या लार होज्यागी
ईमानदार उदारवाद की फेर तेज घनी रफ़्तार होज्यागी
जनता नहीं जागी तो लोगो मानवता शर्मशार होज्यागी
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